सीमा पर गरजे भारत और फ्रांस के राफेल, टारगेट पर गिराई डमी मिसाइलें
जोधपुर। भारत और फ्रांस की वायुसेना ने जोधपुर में भारत पाकिस्तान सीमा पर युद्धाभ्यास कर रही है डेजर्ट नाइट वारगेम्स पर युद्धाभ्यास में दोनों देशों की वायु सेनाओं ने सीमा पर गुरूवार को अपने अपने फायटर प्लेन से ताकत दिखाई इस बीच राफेल विमानों की गरज सुनाई दी औरटारगेट पर डमी मिसाइलें भी गिराई गयी। राफेल जेट के अलावा युद्धाभ्यास के बीच भारतीय वायुसेना के सुखोई-30 और मिराज 2000 फायटर प्लेनों ने भी अपनी शक्ति का प्रदर्शन किया।
यह पहला मौका है जब भारतीय वायुसेना ने किसी अंर्तराष्ट्रीय स्तर की युद्धाभ्यास में राफेल लड़ाकू विमान का प्रदर्शन किया है। जोधपुर में चल रहे इण्डो-फ्रेंच वॉर गेम्स डेजर्ट नाइट 21 की शुरूआत 20 दिसम्बर को हुई थी। जिसमें भारत और फ्रांस के लड़ाकू विमान हिस्सा ले रहे हैं। यह युद्धाभ्यास 24 जनवरी तक चलेगा।
चीफ ऑफ डिफेंस स्टॉफ जनरल बिपिन रावत गुरुवार को इस वॉर गेम में शामिल हुए और उन्होंने पहली बार राफेल विमान में बैठकर उड़ान भरी।(डेजर्ट नाइट वारगेम्स' युद्धाभ्यास में हिस्सा लेने के लिए फ्रांस की तरफ से राफेल, एयरबस ए-330 मल्टी-रोल टैंकर ट्रांसपोर्ट (एमआरटीटी), ए-400एम सामरिक परिवहन विमान और लगभग 175 वायुसैनिक हिस्सा ले रहे हैं। भारतीय और फ्रांस की वायुसेना युद्धाभ्यास के जरिए अपने सभी फाइटर प्लेन का प्रदर्शन कर दुश्मन देशों को अपनी ताकत का अहसास करवा रही है। इस युद्धाभ्यास का मकसद दोनों देशों की क्षमताओं का प्रदर्शन करते हुए प्रोफेशनल प्रैक्टिस का इस्तेमाल कर युद्धकौशल को और निखारना है।
यह पहला मौका है जब भारतीय वायुसेना ने किसी अंर्तराष्ट्रीय स्तर की युद्धाभ्यास में राफेल लड़ाकू विमान का प्रदर्शन किया है। जोधपुर में चल रहे इण्डो-फ्रेंच वॉर गेम्स डेजर्ट नाइट 21 की शुरूआत 20 दिसम्बर को हुई थी। जिसमें भारत और फ्रांस के लड़ाकू विमान हिस्सा ले रहे हैं। यह युद्धाभ्यास 24 जनवरी तक चलेगा।
चीफ ऑफ डिफेंस स्टॉफ जनरल बिपिन रावत गुरुवार को इस वॉर गेम में शामिल हुए और उन्होंने पहली बार राफेल विमान में बैठकर उड़ान भरी।(डेजर्ट नाइट वारगेम्स' युद्धाभ्यास में हिस्सा लेने के लिए फ्रांस की तरफ से राफेल, एयरबस ए-330 मल्टी-रोल टैंकर ट्रांसपोर्ट (एमआरटीटी), ए-400एम सामरिक परिवहन विमान और लगभग 175 वायुसैनिक हिस्सा ले रहे हैं। भारतीय और फ्रांस की वायुसेना युद्धाभ्यास के जरिए अपने सभी फाइटर प्लेन का प्रदर्शन कर दुश्मन देशों को अपनी ताकत का अहसास करवा रही है। इस युद्धाभ्यास का मकसद दोनों देशों की क्षमताओं का प्रदर्शन करते हुए प्रोफेशनल प्रैक्टिस का इस्तेमाल कर युद्धकौशल को और निखारना है।
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